मकान ढहाने के मामले की एसडीएम ने की जांच

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  • चेयरमैन के साथ पहुंचे एसडीएम, की पीड़ित से पूछताछ
  • रेणुकूट (सोनभद्र)। शिवापार्क इलाके में अदालत के आदेश पर गुरुवार को अतिक्रमण हटाने का मामला दूसरे दिन भी चर्चा का विषय बना रहा। शुक्रवार की दोपहर नगर पंचायत अध्यक्ष निशा सिंह व उपजिलाधिकारी शैलेंद्र कुमार मिश्र ने मौके पर पहुंचकर पीड़ित परिवार से पूछताछ की और उन्हें पूरा न्याय दिलाने का भरोसा दिया। एसडीएम शैलेंद्र कुमार मिश्र ने कहा कि इस मामले में उन्होंने पूरी रिपोर्ट तलब की है और यदि गलत व्यक्ति का मकान गिराया गया है तो इस मामले में कार्रवाई जरूर होगी। पीड़ित रामधनी यादव ने बताया कि उनका परिवार बीते 65 वर्षों से नगर में रह रहा है। शुरुआत में उनके पिता इंद्राज यादव जौनपुर से आए थे और तभी से यहां झोपड़ी बनाकर रह रहे हैं। उसने बताया कि उसके भाई बाबूलाल यादव, सुभाष यादव, दिनेश यादव व रमेश यादव भी यहीं रहते हैं और सभी का हिस्सा इस जमीन में है। प्रशासन के लोगों से घर न गिराये जाने की गुजारिश कई बार की गई परंतु स्थानीय पुलिस ने एक नहीं सुनी। गुरुवार की आधी रात को भी एक बार फिर संबंधित स्थल पर पुलिस पहुंचकर पीड़ित परिवार को धमकाने व परेशान करने की कोशिश की। जब थाना प्रभारी व चौकी प्रभारी के नेतृत्व में पहुंची फोर्स क्रेन के माध्यम से जब जेसीबी को हटाने का प्रयास किया जाने लगा तो बड़ी संख्या में लोग पहुंच गए और पुलिस की जबरन कार्रवाई का विरोध किया। गुरुवार को अतिक्रमण हटाने पहुंची जेसीबी के टायर का हवा भी आक्रोशित भीड़ ने निकाल दिया था जिसके बाद जेसीबी वहीं खड़ी रही। आधी रात को जेसीबी को क्रेन के माध्यम से हटाने पहुंचे प्रशासन को एक बार फिर जनविरोध का सामना करना पड़ा और प्रशासन के लोग फिर से जेसीबी छोड़कर भाग खड़े हुए। रात्रि में पहुंचे भाजपा सभासद राज वर्मा ने कहा कि प्रशासन और निजी संस्थान की मिलीभगत से गलत व्यक्ति पर कार्रवाई कर दी गई। यह कार्रवाई योगी सरकार को बदनाम करने की साजिश है। इस मामले की जांच कराकर दोषियों पर कार्रवाई होनी चाहिए। समाजसेवी मोनू जायसवाल ने कहा कि पूर्व के फैसले के विरोध में संबंधित लोगों ने जिला जज के यहां अपील भी कर दी है जिसके बाद उक्त आदेश स्वतः ही निष्प्रभावी हो गया है इसके बावजूद प्रशासन किसके प्रभाव में आकर इस कार्रवाई को करने पर तुला था और उसने एक गलत व्यक्ति का घर गिरा दिया इसलिए इस मामले की जांच करके संबंधित लोगों पर कार्रवाई होनी चाहिए।